रामदेव अग्रवाल: विनम्र शुरुआत से महान वित्तीय गुरु तक

रामदेव अग्रवाल: भारत के वॉरेन बफेट की कहानीकसा संघर्ष, समझदार निवेश और सफलता की विरासत

रामदेव अग्रवाल: विनम्र शुरुआत से महान वित्तीय गुरु तक#Journey of Investor Raamdeo Agrawal:ACE Investor/Age/Investor/Trader/CA/Raamdeo Agrawal story/St

रामदेव अग्रवाल:

मुंबई की वित्तीय दुनिया का चमकता सितारा

मुंबई की आर्थिक गलियों में, जहाँ शेयर मार्केट की गूंज हर रोज़ नई कहानियाँ गढ़ती है, वहाँ एक नाम वर्षों से सम्मान और प्रेरणा का प्रतीक बना हुआ है — रामदेव अग्रवाल निवेश की दुनिया के इस महारथी ने अपनी समझ, ईमानदारी और अनुशासन से भारत में वेल्थ क्रिएशन की परिभाषा बदल दी है। वे आज Motilal Oswal Group के सह-संस्थापक, निवेश गुरु और करोड़ों निवेशकों के मार्गदर्शक हैं।

प्रारंभिक जीवन और संघर्ष

रामदेव अग्रवाल का जन्म छत्तीसगढ़ के रायपुर में एक मध्यमवर्गीय मारवाड़ी परिवार में हुआ। उनके पिता खेती-बाड़ी करके परिवार की ज़रूरतें पूरी करते थे। आर्थिक साधन सीमित थे, लेकिन घर में मेहनत और ईमानदारी के संस्कार प्रचुर मात्रा में थे। बचपन में ही रामदेव ने ठान लिया था कि वे अपनी पहचान खुद बनाएँगे और अपने परिवार की स्थिति बदलेंगे।

मुंबई की राह और वित्तीय शुरुआत

निवेश की दुनिया में उनका पहला कदम तब पड़ा जब वे मुंबई आए, जहाँ उन्होंने चार्टर्ड अकाउंटेंसी (CA) की पढ़ाई की। बैलेंस शीट का विश्लेषण उनका जुनून बन गया और यहीं से शेयर बाजार में उनकी रुचि बढ़ी। पैसे की कमी के बावजूद उन्होंने अवसर की तलाश नहीं छोड़ी। यही तलाश एक दिन उन्हें उनके जीवन के निर्णायक मोड़ तक ले गई।

मोतीलाल ओसवाल से मुलाकात और साम्राज्य की नींव

साल 1987 में उनकी मुलाकात मोतीलाल ओसवाल से हुई, जो उस समय एक उभरते हुए स्टॉकब्रोकर थे। दोनों की सोच और दृष्टि समान थीभारत के निवेश सेक्टर को नया आकार देने की। इस साझेदारी ने जन्म दिया Motilal Oswal Financial Services को, जो आज भारत की अग्रणी वित्तीय सेवा कंपनियों में से एक है। उन्होंने ग्राहक भरोसे और गहन रिसर्च को अपना आधार बनाया।

हर्षद मेहता युग और सीख

1990 के शुरुआती दशक में अग्रवाल ने अपने निवेश सफर की शुरुआत की और 20 लाख रुपए को दो वर्षों में 30 करोड़ में बदल दिया। लेकिन हर्षद मेहता स्कैम ने उन्हें बड़ा झटका दिया। उनके पोर्टफोलियो का बड़ा हिस्सा डूब गया। इस असफलता ने उन्हें नया दृष्टिकोण दिया। 1994 में वे अमेरिका गए और वॉरेन बफेट से प्रेरित होकर 'Value Investing' के सिद्धांतों को आत्मसात किया।

रामदेव अग्रवाल: विनम्र शुरुआत से महान वित्तीय गुरु तक#Journey of Investor Raamdeo Agrawal:ACE Investor/Age/Investor/Trader/CA/Raamdeo Agrawal story/St

नई निवेश रणनीति और QGLP सूत्र

भारत लौटने के बाद उन्होंने अपनी निवेश शैली पूरी तरह बदल दी। पहले जहाँ उनके पास 200 से अधिक शेयर थे, वहीं अब उन्होंने सिर्फ 15 उच्च गुणवत्ता वाले स्टॉक्स में निवेश किया। उन्होंने विकसित की QGLP Strategy, जो आज पूरे निवेश समुदाय में प्रसिद्ध है:

  • Q (Quality): कंपनी का बिज़नेस मॉडल और प्रबंधन की गुणवत्ता
  • G (Growth): मुनाफे की सतत वृद्धि
  • L (Longevity): इन दोनों की स्थायित्व
  • P (Price): सही मूल्य पर खरीद

उनका मानना था कि अगर इनमें से एक भी स्तंभ कमजोर है, तो निवेश से बचना चाहिए। वे दो सलाह बार-बार दोहराते हैं — कभी सट्टा मत लगाओऔर कभी उधार लेकर निवेश मत करो

मल्टीबैगर निवेश और नई ऊँचाइयाँ

रामदेव अग्रवाल ने वर्षों में ऐसे कई शेयरों में निवेश किया जो आगे चलकर मल्टीबैगर साबित हुए। जैसे

  • Hero Honda: 1996 में ₹30 पर खरीदा, 2016 में ₹2600 पर बेचा
  • Eicher Motors: ₹900 से ₹32,000 तक पहुँचा
  • InfosysAjanta Pharma, और Vysya Bank जैसे स्टॉक से भी शानदार रिटर्न मिला

2013 में उन्होंने Motilal Oswal Home Finance की शुरुआत की और Motilal Oswal Asset Management Company (MOAMC) को नई ऊँचाइयों पर पहुँचाया, जो आज हज़ारों करोड़ रुपए की एसेट्स मैनेज करती है।

किताबें, विचार और समाज में योगदान

रामदेव अग्रवाल सिर्फ निवेशक नहीं, बल्कि ज्ञान-साझा करने वाले विचारक हैं। उनकी किताबें — "Corporate Numbers Game" और "The Art of Wealth Creation" — हजारों युवाओं को निवेश की मूलभूत समझ देती हैं। वे हर साल Motilal Oswal Annual Wealth Creation Study भी प्रकाशित करते हैं जो निवेशकों के लिए मार्गदर्शक बन चुकी है।

सिद्धांत, सम्मान और मानवीय दृष्टिकोण

आर्थिक सफलता के साथ-साथ, ईमानदारी और पारदर्शिता उनका सबसे बड़ा पूंजी है। उन्हें भारत सरकार की सीबीडीटी (CBDT) द्वारा "राष्ट्रीय सम्मान पत्र" से सम्मानित किया गया। साल 2018 में उन्हें छत्तीसगढ़ सिटीजन ऑफ ईयर भी घोषित किया गया। बावजूद इसके, वे आज भी विनम्र और जमीन से जुड़े हुए हैं।

भारत के भविष्य पर उनका विश्वास

अपने इंटरव्यू में वे हमेशा कहते हैं कि भारतसोने की चिड़ियाफिर बन सकता है। वे भारतीय अर्थव्यवस्था के प्रति अत्यंत आशावादी हैं और मानते हैं कि आने वाले दशक में प्रॉफिटेबल कंपनियाँ और टेक्नोलॉजी ग्रोथ भारत को निवेश की वैश्विक ताकत बना देंगी।

प्रेरणा और विरासत

रामदेव अग्रवाल की कहानी बताती है कि निवेश सिर्फ पैसे का नहीं, बल्कि सोच का खेल है। उनकी विरासत करोड़ों निवेशकों में जीवित है जो ईमानदारी, अनुशासन और धैर्य को अपनी पूंजी मानते हैं। आज वे सिर्फ एक नाम, बल्कि एक प्रेरणा हैं  जो सिखाते हैं कि सफलता का सबसे बड़ा रहस्य है सीखना, समझना और सच्चाई से आगे बढ़ना।

 रामदेव अग्रवाल: विनम्र शुरुआत से महान वित्तीय गुरु तक#Journey of Investor Raamdeo Agrawal:ACE Investor/Age/Investor/Trader/CA/Raamdeo Agrawal story/St

Previous Post Next Post

Contact Form

-->